2 अक्तूबर को सभी पंचायतों में होने वाली विशेष ग्राम सभा पर भी पड़ेगा असर
सोलन/प्रताप भारद्वाज : हिमाचल प्रदेश में आज से पंचायतों में कामकाज ठप रहने वाले हैं क्योंकि जिला परिषद काडर कर्मचारी महासंघ अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जा रहे हैं। ऐसे में पंचायत में होने वाले विकास कार्य बाधित जरूर रहेंगे। हिमाचल प्रदेश में करीब 4700 जिला परिषद काडर कर्मचारी महासंघ अपनी मांगों को लेकर शनिवार से ब्लॉक लेवल पर धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं। हालांकि यह शांतिपूर्ण ढंग से किया जा रहा है लेकिन इससे कहीं न कहीं पंचायतों में कामकाज प्रभावित जरूर होने वाले हैं। कर्मचारियों की पेन डाउन स्ट्राइक से प्रदेश की सभी पंचायतों में कोई भी काम नहीं हो पाएगा। पंचायतों में जन्म-मृत्यु, बीपीएल सर्टीफिकेट, मैरिज रजिस्ट्रेशन, मनरेगा वर्क असेसमेंट जैसे कई काम ठप हो जाएंगे। मनरेगा योजना के तहत आज से विभिन्न कार्यों का असेसमेंट भी नहीं होगी। इससे आने वाले दिनों में राज्य के 13 लाख से ज्यादा मनरेगा मजदूरों की दिहाड़ी के भुगतान में भी देरी तय है। राज्य सरकार इनकी मांगों को यदि जल्द पूरा नहीं करती तो इससे प्रदेशवासियों की दिक्कतें बढ़ेगी।
जिला परिषद काडर कर्मचारी महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर ने कहा कि शनिवार से 4700 कर्मचारी अपनी मांग को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल पर हैं जिससे पंचायतों में कामकाज प्रभावित होगा। इसकी चेतावनी उन्होंने सरकार को पहले ही दे दी थी लेकिन सरकार ने इसकी तरफ कोई भी ध्यान नहीं दिया। जिला परिषद काडर कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष राजेश ठाकुर ने बताया कि उनके साथ सौतेला व्यवहार होता आया है। इसी वजह से उन्हें पूर्व सरकार ने नया पे स्केल भी नहीं दिया। इससे इन्हें वित्तीय हानि हो रही है। इन कर्मचारियों को महंगाई भत्ता डीए और एरियर भी नहीं दिया गया, जबकि ये लाभ दूसरे सभी कर्मचारियों को दिए गए।
उन्होंने कहा कि अब कांग्रेस भी इनसे किया हुआ अपना वादा भूल गई है, जो कांग्रेस ने बीते साल विधानसभा चुनाव के दौरान किया था। इन्हीं मांगों को लेकर जिला परिषद कैडर कर्मचारी पूर्व जयराम सरकार में भी लंबा आंदोलन कर चुके हैं, लेकिन तब पूर्व सीएम जयराम के मौखिक आश्वासन के बाद इन्होंने अपनी पेन डाउन स्ट्राइक खत्म की। हकीकत में इनकी मांग पूरी नहीं की गई। उन्होंने बताया कि अनुबंध पॉलिसी के तहत कॉन्ट्रैक्ट पर दो साल पूरा करने वाले कर्मचारियों को 31 मार्च और 30 सितंबर को रेगुलर किया जाता है। मगर, जिला परिषद कैडर के कर्मचारियों को रेगुलर भी नहीं किया गया। बता दें कि कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से 2 अक्टूबर को सभी पंचायतों में होने वाली विशेष ग्राम सभा में भी इस दौरान असर पडऩे वाला है क्योंकि कोई भी कर्मचारी इस दौरान इस ग्राम सभा में भाग नहीं लेंगे, ऐसे में विकास कार्य ठप होने की उम्मीद इस दौरान जताई जा रही है। हालांकि कुछ प्रधान और पंचायत समिति सदस्य जिला परिषद काडर कर्मचारियों के समर्थन मुड़ रहे हैं लेकिन अभी हड़ताल को जल रखने की बात कर्मचारियों द्वारा कहीं जा रही है।
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